एक ऐसी घुमक्कड़ नवयुवक की कहानी है जो अज्ञात तृष्णा को अन्तर में समेटे हुए जीवन-भर भटकता रहा। अनेक सुन्दरियों के सम्पर्क में रहकर भी वह वैरागी ही बना रहा। सबका होकर भी वह किसी का न बन सका । बंगला के उपन्यास सम्राट शरत्चन्द्र की विश्व विख्यात अमर कृति।
By:
Sharat Chandra Chattopadhyay Imprint: Diamond Pocket Books ISBN:9788128814891 ISBN 10: 8128814893 Pages: 272 Publication Date:10 July 2023 Audience:
General/trade
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ELT Advanced
Format:Paperback Publisher's Status: Active